Translation Surah An-Nahl Ayat 65

Translation Suhel Farooq Khan (Suhel Farooq Khan)

وَاللَّهُ أَنْزَلَ مِنَ السَّمَاءِ مَاءً فَأَحْيَا بِهِ الْأَرْضَ بَعْدَ مَوْتِهَا ۚ إِنَّ فِي ذَٰلِكَ لَآيَةً لِقَوْمٍ يَسْمَعُونَ 65

और ख़ुदा ही ने आसमान से पानी बरसाया तो उसके ज़रिए ज़मीन को मुर्दा होने के बाद ज़िन्दा (शादाब) (हरी भरी) किया क्या कुछ शक नहीं कि इसमें जो लोग बसते हैं उनके वास्ते (कुदरते ख़ुदा की) बहुत बड़ी निशानी है